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2019 ~ Lav Tiwari ( लव तिवारी )

Lav Tiwari On Mahuaa Chanel

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मंगलवार, 31 दिसंबर 2019

ग़ाज़ीपुर के अग्रिम विकास के लिए एक ही नाम चाहिए माननीय मनोज सिन्हा- लव तिवारी

आप BJP  के समर्थक है या किसी अन्य राजनीतिक दल से BJP के खिलाफ लेकिन आप एक सांसद के रूप में मनोज सिन्हा का विकल्प ग़ाज़ीपुर में नही खोज सकते, मैन हमेशा कहा है कि आप अपने क्षेत्र के किसी विशेष और अच्छा उम्मीदवार चुनिए, जो आपकी समस्याओ को दिल्ली पहुचा सके, आपका विकास कर सके। पूर्वांचल में शायद बनारस के बाद अगर कुछ भी काम हुआ है तो वो ग़ाज़ीपुर शहर है इसका श्रेय पूर्व ग़ाज़ीपुर सासंद माननीय मनोज सिन्हा जी है जिनके द्वारा कई सड़को को नेशनल हाइवे निर्माण...

प्रत्यक्ष से कई गुना ताकतवर परोक्ष, हमारे पापा की सीख -प्रवीन तिवारी पेड़ बाबा ग़ाज़ीपुर

प्रत्यक्ष से कई गुना ताकतवर परोक्ष, हमारे पापा की सीख ::--********************************    सात आठ वर्ष पहले झाड़ू हमारे हथियार हुआ करता था और रोज हमारे साथ चार पाँच घंटे रहता था । बारी बारी से हम किसी न किसी गाँव की गंदी गलियों को खोजते और तबतक साफ करते रहते जबतक वह गली उस गाँव की सबसे साफसुथरी गली न बन जाए ।उसे दौरान हमारे गाजीपुर स्थिति घर के समीप एक चौराहा भी बहुत ही गंदा हुआ करता था और हमेशा ही हमारा मन होता था कि क्यों न यहाँ भी...

रविवार, 29 दिसंबर 2019

मोहब्बत अब नही होगा मुझे कल की तरह- लव तिवारी

मोहब्बत अब नही होगा मुझे कल की तरह।मिला जो कल मुझे न रहा हमसफ़र की तरह।।कुछ उसकी यादें है जो जाती नही जहन से।खुशनसीब वह है जिसका है वो हमदर्द की तरह।।ख्वाइशें कल भी थी आज भी है और रहेगी ही ।जाने वाले को याद रखता मैं हरपल की तरह।।कैसी दुनिया है जो एक ख्वाब मुक्कमल न हुआ।मेरा होकर भी मुझसे छीना गया उसे बेरहम की तरह।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 29- दिसंबर- 2019 ...

शुक्रवार, 27 दिसंबर 2019

वो छतों पर कई पत्थर जुटाए बैठे हैं- कवि गौरव चौहान इटावा

हम गलियों प्यार के मंज़र जुटाए बैठे हैंवो छतों पर कई पत्थर जुटाए बैठे हैंहम यहां उलझे रहे सेकुलर के धागों में,वो तो अलकायदा लश्कर जुटाए बैठे हैंहमने रसखान कबीरा की पोथियाँ बाँची,वो तो भड़काऊ मुनव्वर जुटाए बैठे हैंहमने तहज़ीबे लखनऊ का भरम रक्खा था,वो तो लाहौर पिशावर जुटाए बैठे हैंगंगा जमुनी इलाहाबाद सरीखे थे हम,वो तो बगदाद का तेवर जुटाए बैठे हैंहम तो चुपचाप रहे राम की फतह पर भीवो नागरिकता पे बवंडर जुटाए बैठे हैंहम हमीदो कलाम की सजाएं तस्वीरें,वो तो अफ़ज़ल...

हाँ, हमारे बाप का ही है हिन्दुस्तान - अनिल चौधरी

जी हाँ, हमारे बाप का है हिन्दुस्तान !शायर राहत इंदौरी ने लिखा था...."सभी का खून है शामिल यहाँ की मिट्टी मेंकिसी के बाप का हिंदुस्तान थोड़ी है "~राहत इंदौरी का यह शेर इन दिनों CAA व NRC के नाम पर जेहादियों द्वारा की जा रही हिंसा के समर्थन में खूब लिखा व बोला जा रहा है।मैं  स्वंय भी यह मानने रहा वाला हूँ कि भले ही कुछ धर्म आक्रमणकारी व आतंकवादी/आतातायी के रूप में यहां आये, बावजूद इसके, हमारी कायरतापूर्ण दरियादिली के कारण खंड खंड होने के बाद बचा...

तस्लीमा नसरीन को सत्य घटनाओं पर आधारित 'लज्जा' उपन्यास की कहानी- अनिल चौधरी

शर्म से डूब मरना चाहिए, अगर लिखने में भी लज्जा आ रही इन घृणित पंक्तियों को पढकर भी कोई CAA का विरोध करता है तो...तस्लीमा नसरीन को सत्य घटनाओं पर आधारित जिस 'लज्जा' उपन्यास के कारण अपने वतन से निर्वासित होना पड़ा, उसका यह अंश जरूर पढ़ें, और फिर CAA पर अपनी राय तय करें...बेटियों के बलात्कारियों से जब माँ ने कहा "अब्दुल अली, एक-एक करके करो,,, नहीं तो वो मर जाएंगी "।यह सच्ची घटना घटित हुई थी 8 अक्टूबर 2001 को बांग्लादेश में।अनिल चंद्र और उनका परिवार...

मंगलवार, 24 दिसंबर 2019

कुआँ और मेरा गांव युवराजपुर ग़ाज़ीपुर - लव तिवारी

गांव और कुआँ का सम्बन्ध बहुत पुराना है। कुँवा या कूप जमीन को खोदकर बनाई गई एक संरचना है जिसे जमीन के अन्दर स्थित जल को प्राप्त करने के लिये बनाया जाता है। इसे खोदकर, ड्रिल करके (या बोर करके) बनाया जाता है। बड़े आकार के कुओं से बाल्टी या अन्य किसी बर्तन द्वारा डौर और हाथ की सहायता से पानी निकाला जाता है। भारी मात्रा में जल की पूर्ति के लिए इनमें जलपम्प भी लगाये जाते है जिससे बड़ी मात्रा में खेतों की सींच कर फसल की पैदावार की जा सके। हमारे गांव...

शुक्रवार, 20 दिसंबर 2019

मोदी ने मुस्लिमो के लिए सब कुछ किया फिर विरोध क्यों- लव तिवारी

परन्तु इस बार नही- मोदी है तो मुमकिन हैयुद्ध मे कभी नही हारे , हम डरते हैं छलचन्दों सेहर बार पराजय पायी है , अपने घर के ही जयचंदों सेभारत मे मुसलमान को इंसान से ज्यादा वोट बैंक की राजनीति के रूप में देखा जाता है। पिछले 70 वर्ष से मुसलमान के पक्ष में फैसले कर कई राजनीतिक पार्टियों ने मुसलमान को लुभाये है और उनसे वोट बैंक की राजनीतिक भी की है। नागरिकता संसोधन बिल में भारतीय मुसलमान की कोई हानि नही है लेकिन गैर बीजपी पार्टियों को ये लगता है कि जो वोट...

बुधवार, 18 दिसंबर 2019

पाकिस्तान में सांप्रदायिक आधार पर नागरिकता नहीं फिर क्यो हिंदू 23 से 3 प्रतिशत हो गये - लव तिवारी

पाकिस्तान में सांप्रदायिक आधार पर नागरिकता नहींद्विराष्ट्र सिद्धांत की व्याख्या करते हुए जिन्ना ने बिल्कुल स्पष्ट कर दिया था कि नागरिकता का कभी भी सांप्रदायिक आधार नहीं होगा. उन्होंने महात्मा गांधी से ये बात कही थी और पाकिस्तान में विभिन्न समुदायों को नागरिकता के समान अधिकार दिए जाने का वादा किया था. जब आज़ादी का अवसर करीब आ गया और अंतरिम सरकार का गठन हुआ, तो जिन्ना ने काउंसिल की एक मुस्लिम सीट के लिए जोगिंदर नाथ मंडल को नामित किया. आगे चलकर मंडल...

रविवार, 15 दिसंबर 2019

नोटबंदी और दारू का ठेका - लव तिवारी

एक प्रश्न की वास्तविकता क्या हैक्या राहुल गांधी और मोदी जी की मां दोबारा बैंक आएंगे ? या अभी 4 हजार खत्म नहीं हुए ।#राजनीति #कूटनीति दूसरी तरफ हम तो न मोदी है न राहुल हमें जब भी जरुरत पड़ती है हम पैसे के लिए लाइन में लगते है और पैसे निकलते भी है , आज थोड़ी देर पहले ही एक रोचक घटना को अंजाम मिला ,लंबी लाइन लाइन में कुछ लोग ये कहने लगे की जाइये भाई आप पहले निकल ले हम बात समझ नहीं पाये लेकिन बाद में इस बात की पुष्टि हुई की सभी लोग 12 बजने का इंतेजार...

शुक्रवार, 13 दिसंबर 2019

क्या मैं पागल हुँ तुम्हें सोचकर या तुम्हें भी मेरे सपने आने लगे- लव तिवारी

तन्हाई ने क्या करवट ली तुम फिर मुझको याद आने लगे।कोई भाता नही है तुम्हारे सिवा दिल को तुम मेरे धङकाने लगे।।एक बात बताओ तुम मुझको जो मुझे हुआ क्या तुम्हें हुआ।क्या मैं पागल हूँ तुम्हें सोचकर या तुम्हें भी मेरे सपने आने लगे।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 13- दिसंबर-2019 ...

सोमवार, 9 दिसंबर 2019

तुम्हारे बिन देखो कैसे हम तुम्हारे पास रह लेते है - लव तिवारी

इस तरह रात के दामन में तेरे यादों के गुल खिलते है।तुम्हारे बिन देखो कैसे हम तुम्हारे पास रह लेते है ।।कौन कहता है कि मिलना आसान नही इस दुनिया में।तुम्हारे ख्वाब देखकर हम तुम्हारे साथ ही रह लेते है।।दुनिया मे आसान नही हर मोहब्बत का मुक्कमल होना।ऐसा होता हीर रांझा भी जमाने के साथ ही जी लेते।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 09- दिसंबर-2019 ...

राजनिति में सक्रिय होना कोई बुरी बात नहीं , लेकिन हार कर निष्क्रिय होना ये गलत बात है- लव तिवारी

राजनिति में सक्रिय होना कोई बुरी बात नहीं , लेकिन हार कर निष्क्रिय होना ये गलत बात है, किसी भी गांव का एक ही प्रधान होता है और प्रत्याशी अनेक ,तो क्यों नहीं हारे प्रत्याशी विपक्ष का काम करके, आने वाले नए प्रधान को उसके कार्यो में सहयोग और अगर वो कार्यो के प्रति असंवैधानिक, धोखा धड़ी करता है ,तो इन कार्यो को रोके , यहाँ सब उल्टा होता है प्रत्याशी चुनाव से पहले उत्तेजित होकर गांव के विकास की राजनीती करता है और हार जाने पर द्वेष और बदले की भावना की...

शुक्रवार, 6 दिसंबर 2019

ओवरलोड वाहनों के कारण बार बार क्षतिग्रस्त वीर अब्दुल हमीद सेतु ग़ाज़ीपुर - लव तिवारी

वीर अब्दुल हमीद सेतु गाज़ीपुर का यह पक्का पुल जो पूर्व प्रधानमंत्री श्री मति इंदिरा गांधी जी के द्वारा ग़ाज़ीपुर की जनता को सौगात के रूप में दिया गया था। 10 सितम्बर 1965 में परमवीर चक्र विजेता स्वर्गीय श्री वीर अब्दुल हमीद जी के पूर्ण तिथि इस पुल का नाम वीर अब्दुल हमीद सेतु रखा गया जिसकी लंबाई लगभग 810 मीटर है । इस पक्की पुल की विशेषता (नेशनल हाईवे 97) को मुख्यरूप ग़ाज़ीपुर और बिहार के सीमा को NH 97 के माध्यम से जोड़ना । ग़ाज़ीपुर सैयदराजा मार्ग इसी हमीद...

गुरुवार, 5 दिसंबर 2019

बहुत खूबसूरत जवां एक लड़की न जाने कहा से - लव तिवारी

बहुत खूबसूरत जवां एक लड़की ।न जाने कहा से ख्यालो में आयी।।तकल्लुफ़ की बातें बनावट नही।न जाने वो कैसे मेरे दिल को भाई।।वो चेहरा गुलाबी वो आँखे शराबी।मगर उसके होंठो पर लाली थी ऐसीन जाने कहाँ से ख्यालो में आयी बहुत खूबसूरत जवां एक लड़की।।परी तो ये मैंने ये देखी नही है ।यू लगती है मुझको परी से भी प्यारी।।मेरे दिल की ख्वाईश तमन्ना है ऐसी।हो जाये वो मेरे सपनों की रानी ।।बहुत खूबसूरत.......तकल्लुफ़= दिखवाया, बनावटीरचना- लव तिवारीपहली ग़ज़ल - वर्ष 2005 ...

शनिवार, 30 नवंबर 2019

चारों वर्णों के उदय ब्राह्मण क्षत्रिय वैश्य शूद्र - लव तिवारी

ब्राह्मण                एक ऐसा शब्द जिसे सुनकर वामपंथी विचारधारा और भीमवादी ईर्ष्या से भर उठते हैं, मुस्लिम समुदाय ब्राह्मण शब्द उच्चारण से भी कतराते हैं, आखिर ये शब्द ब्राह्मण है, क्या।क्यों इतनी नफ़रत इस एक नाम से?व्यवहार पटल और सामाजिक परिदृश्य से उक्त प्रश्न की समीक्षा:- उत्पत्ति:-                  मनुष्य योनि में सर्वप्रथम ब्राह्मण की उत्पत्ति...

शुक्रवार, 29 नवंबर 2019

कल एक छलावा है, आज पर यकीन कर- लव तिवारी

कल एक छलावा है, आज पर यकीन कर ।जिंदगी का क्या भरोसा, इस पल को अजीज कर।।रास्ते कई अनजाने है, चलना यहाँ संभल कर ।हैं जमाना दुश्मन यहाँ, न कोई ऐसी तक़सीर कर ।।मुझको मिला एक राही, रास्ते मे जो छोड़ गया ।मैं किस पर भरोसा करू, मिला ऐसा तकदीर गर ।।तक़सीर - भूल रचना- लव तिवारीदिनांक - 29- नवम्बर-2019 ...

दिन रात रहो मेरे पास तुम- लव तिवारी

कुछ दूर चलो मेरे साथ तुम ।दिन रात रहो मेरे पास तुम ।।तेरे बिना मुझे चैन कहाँ ।आते रहो मुझे याद तुम ।।ये जिंदगी नही अब तेरे बिना ।बन जाओ मेरे हमराज़ तुम ।।तुम बिन कोई मेरा नही ।मिलते रहो हर बार तुम ।।ये मौत का अब क्या भरोसा ।आ जाओ मेरे अब पास तुम।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 28 नवंबर 2019 ...

गुरुवार, 21 नवंबर 2019

मुझे बहुत प्रिय था साथ तुम्हारा- लव तिवारी

 बहुत प्रिय था बस साथ तुम्हारा।आते जाते तुम देखा करते थे जो चेहरा हमारा ।।बड़ी हसीन दौर था और तुम्हारा साथ भी।नरज किसकी लगी जो सबकुछ बिखर गया हमारा ।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 20- नंवबर- 2019 ...

बुधवार, 20 नवंबर 2019

मैंने तुम्हें चाहा कहने दो मुझे- लव तिवारी

मैंने तुम्हें चाहा, कहने दो मुझे ।अब तो अपने दिल मे रहने दो मुझे।।मेरे जज्बात मेरे दिल की तम्मना हो तुम ।कब से नही देखा तुम्हे मिलने दो मुझे।।आओ करीब तुम रखो न फासला मुझसे ।करो रहम मुझ पर अब न बिछड़ने दो मुझे।।तुम्हे छोड़ कर रही न कोई ख्वाईश अब तोअगर बिछड़े तुम  तो मौत ही मिले मुझसे।।रचना- लव तिवारीदिनांक- 19- नंवबर-2019 ...

शनिवार, 16 नवंबर 2019

आप की घुड़सवारी किसी की जिंदगी है- लव तिवारी

आपकी घुड़सवारी,किसी की जिंदगी हैं। हर एक जीव जीव होता है दर्द सबको होता हैं,चोट सबको लगती हैं,खून सबको आता हैं,लेकिन ये बेजुबान हैं,ये अपना दर्द आपकी नही बता सकते। एक घुड़सवारी के पीछे इनका दर्द शायद ही कोई जानता हो,जीतता तो सिर्फ इंशान हैं,इस बेजुबान की आँखों पर पट्टी बंधी होती हैं,इसे हार जीत का पता नही,बस आपके इशारों पर दौड़ता हैं,और आपको जीता भी देता हैं, आपकी जीत के पीछे इनका कितना दर्द हैं वो कभी नही सोचा?  ...

ग़ाज़ीपुर के समाज सेवी प्रवीण तिवारी पेड़ बाबा - लव तिवारी

मेरे पैतृक गांव युवराजपुर ग़ाज़ीपुर से गहरा तालुकात है माननीय श्री प्रवीण तिवारी पेड़ बाबा जी का ननिहाल मेरे गांव मेंं है। आदरणीय गुरू जी श्री प्रवीण तिवारी  का आशीर्वाद हम दोनों भाइयों के छात्र जीवन पर रहा है । आदरणीय गुरु जी को समर्पित ये चार लाइन की कविताखुद की कश्ती का खुद ही पतवार बनो ।हो सके निर्बलों के जीवन का मददगार बनो।।जिंदगी में एक तमन्ना एक ख्वाईश रखो तुम।मिल जाये दुखिया कोई उसका तुम फरमान बनो।।नही खुदा इस धरती पर ना कोई भगवान...

बुधवार, 6 नवंबर 2019

जीव हत्या पाप है -लव तिवारी

भीष्म पितामह कुरुक्षेत्र में शरशैया पर पड़े थे..कृष्ण उनसे मिलने आये तो भीष्म बोले कृष्ण मैंने ऐसे कौनसे पाप किये हैं जिनकी इतनी बड़ी सजा मिली. मेरा पूरा शरीर तीरों से बिंधा पड़ा हैं. प्राण निकल नहीं रहे हैं....दर्द इतना हैं की शब्दों में नहीं कहा जा सकता..कृष्ण ने कहा सब पूर्व जन्मो का फल हैं. भीष्म ने कहा मैं पिछले जन्म देखने की कला जानता हूँ...मैंने पिछले 100 जन्म देख लिए हैं कृष्ण मैंने कोई कर्म ऐसा नहीं किया जिसका फल ये हो..कृष्ण ने कहा 101...

रविवार, 20 अक्टूबर 2019

ऐसे तो मर जायेंगे हम। तेरे बिन न रह पाएंगे हम- लव तिवारी

ऐसे तो मर जायेंगे हम। तेरे बिन न रह पाएंगे हम।। चाहे दुनिया कुछ भी करले। एक दूजे के हो जायेगे हम।। आओ मिलकर साथ चले हम। जीवन को सफल बनायेगे हम।। कभी तुम्हारा साथ न छूटे। उम्र भर साथ निभायेंगे हम।। दुनिया की इस कश्मोकश में।  प्रेम के गीत गायेंगे हम।। ऐसे तो मर... रचना- लव तिवारी दिनाक- 20-अक्टूबर-2019 ...

ये न सोचे कि सोचने से सब हो जाएगा। कुछ करना होगा तभी मंजिल मिल पायेगा- लव तिवारी

ये न सोचे कि, सोचने से सब हो जाएगा। कुछ करना होगा, तभी मंजिल मिल पायेगा।। घर मे बच्चा न रोये तो माँ समझें न उसके भूख को। अगर वो भी कुछ न करे तो भूखा ही सो जाएगा।। आजका आदमी दिन पर दिन निक्कमा होता जा रहा। यही हालात रहे तो ज़माना कैसे चल पायेगा।। देश की हालात पहले से बत्तर नही है अब। अगर इंसान इंसानियत को जो समझ पायेगा।। मुझको भी मिला था एक शख्स अजनबी बनकर। कौम से हटकर शायद ही वो कभी दोस्त बन पायेगा।। रचना-...

शनिवार, 19 अक्टूबर 2019

दो दिन जा जग में मेला सब चला चली- अनूप जलोटा

चलती चक्की देख के दिया कबीरा रो दो पाटन के बीच में साबुत बचा ना कोई दो दिन का जग में मेला सब चला चली का खेला दो दिन का जग में मेला सब चला चली का खेला कोई चला गया कोई जावे,कोई गठरी बांध सी भावे-2 कोई खड़ा तैयार अकेला रे कोई खड़ा तैयार अकेला चला चली का खेला रे खेला रे खेला रे दो दिन का जग मे मेला सब चला चली का खेला दो दिन का जग ....... मात-पिता सूत नारी भाई अंत सहायक नाही-2 फिर क्यो भरता पाप का ठेला रे फिर...

बुधवार, 16 अक्टूबर 2019

छुपते फिरते हो तुम क्यो न जाने मुझसे। कोई उलझन है तुमको बताओ न मुझसे- लव तिवारी

छुपते फिरते हो तुम क्यो न जाने मुझसे। कोई उलझन है तुमको बताओ न मुझसे।। हक़ीक़त क्या है ये पता तो मुझे भी चले। जो तुम पास थे मेरे,अब क्यो दूर हो मुझसे।। मैं हर वक़्त जुबान पर नाम जो तेरा लेता हूं। पता नही बन गए तुम मेरे ख़ुदा कबसे ।। कई हसीन रुख आज भी फिदा है मुझपर। मेरी निगाह तुमको ढूढ़ती है हर जगह तबसे।। कभी आना तो न छोड़ कर जाना कभी मुझको। मैं आशिक हुँ तुम्हारा और बस दीवानी है तुमसे।। रचना- लव तिवारी दिनांक-...

रविवार, 13 अक्टूबर 2019

मैं नाम उसका लूँ कैसे जिस नाम से बदनाम हुँ- लव तिवारी

अब कोई नही गिला तुमसे,अपनी जिंदगी से हैरान हूं। न हो सका कोई अपना, इस बात से परेशान हुँ।। मिलता नही हर किसी को, उसके मनमाफ़िक हमसफ़र। मिला एक शख़्स मुझे बेवफ़ा, इस बात से हैरान हुँ ।। कोई आकर मुझे पूछे, क्या दवा है तेरे दर्द की। मैं नाम उसका लूं कैसे, जिस नाम से बदनाम हुँ।। मैं अपने हाथ की लकीरों में, ढूढता हूं नाम उसका। अब क्या है उसके दिल मे, इस बात से मैं अंजान हूँ।। रचना- लव तिवारी दिनांक- 13- अक...

गुरुवार, 26 सितंबर 2019

जरा देर से आते हो, दिल सहम सा जाता है। पल भर के इस दौर को, बरसों की तरह लग जाता है- लव तिवारी

जरा देर से आते हो, दिल सहम सा जाता है। पल भर के इस दौर को, बरसों की तरह लग जाता है।। इतनी बेचैनी न थी,और पागलपन भी कभी नही। तुमसे मिलने के थोड़े देर से, जान निकल सा जाता है।। क्या जानो तुम मेरे दर्द को,ना समझो इस बिरहन को। आते जाते तेरे ख़यालो में, बस दिन गुजर सा जाता है।। अपनी बेताबी किससे कहे, तुम ही तो हो मेरे साजन। सजनी की इस बात को समझो, जीवन फिर नही आता है।। रचना- लव तिवारी दिनांक- 26-सिंतम्बर-2019 ...

बुधवार, 18 सितंबर 2019

बहुत तलाश किया तुम्हें तुम्हारे जाने के बाद मिलता नही कोई फिर बिछड़ जाने के बाद- लव तिवारी

बहुत तलाश किया तुम्हें, तुम्हारे जाने के बाद। मिलता नही कोई फिर, बिछड़ जाने के बाद ।। मुझको भी चाहिए हमेशा, तुम्हारे रुख का दीदार हो । सफर ऐसे ही गुजर जाती है, बसअफ़साने के साथ ।। क्या खता हुई जो तुम, इतना बदल गए । छोड़कर जाना था, तो जाते मेरे मरने के बाद ।। आदमी हूँ मुझको भी, मोहब्बत की जरूरत है। क्यो बदले तुम एकाएक, मुझें इतना चाहने के बाद।। अब नही होगा किसी गैर से, मुझको मोहब्बत। बदन ओढ़ लेगा कफ़न, तुम्हारे हसरतों...

रविवार, 15 सितंबर 2019

क्यो हिंदू और मुसलमान बना फिरता है इंसान की आड़ में हैवान बना फिरता है - लव तिवारी

क्यो हिंदू और मुसलमान बना फिरता है । इंसान की आड़ में,हैवान बना फिरता है ।। कुछ नहीं होगा इस जहाँ में मजहबी बनकर । शहर के गलियारों में, शैतान बना फिरता है ।। राजनीति किसी की नही, जो तेरे साथ होगी । क्यों नेताओं का तू, फ़रमान बना फिरता है ।। अब भी वक़्त है चलो, एक होकर मिलकर रहे । क्यों तू अपने कौम की भगवान बना फिरता है ।। रचना- लव तिवारी दिनांक- 15- सितंबर-2019संपर्क सूत्र- +91-9458668566 ...

शुक्रवार, 6 सितंबर 2019

समुद्र की कहानी - लव तिवारी

समुद्र की गहराइयों से हटकर समुद्र की एक प्रेरणा युक्त कहानी , समुद्र के किनारे जब एक लहर आया तो एक बच्चे का चप्पल ही अपने साथ बहा ले गया| बच्चा रेत पर अंगुली से लिखता है "समुद्र चोर है"| उसी समुद्र के एक दूसरे किनारे कुछ मछुआरे बहुत सारे मछली पकड़ लेते  और उनसे उनका व्यवसाय एवम धन अर्जित करते हैं|  वह उसी रेत पर लिखता है "समुद्र मेरा पालनहार है"| एक युवक समुद्र में डूब कर मर जाता है| उसकी मां रेत पर लिखती है "समुद्र हत्यारा है"| एक दूसरे...

वाहन चलान से पीड़ित व्यक्ति की अभिव्यक्ति -लव तिवारी

इसका जुर्म का जुर्माना कौन भरेगा धरती पर हो रहे अन्याय कौन सहेगा अगर मौत मिल जाये खराब सड़कों से खूबसूरत जिंदगी का हरजाना कौन भरेगा चालान ऐसा की वेतन भी शर्मा जाये घर मे भूखे बच्चो का निवाला कौन भरेगा रचना- लव तिवारी दिनांक- 06- सितंबर-2019 ...

शुक्रवार, 30 अगस्त 2019

मेरे ख़ुदा तूमने मुझको क्यो ऐसे ख्वाब दिखाए- लव तिवारी

कहा चले जाते हो तुम, दिल मे तड़प जगा के बरसो की प्यासी धरती पर, थोड़ी बूँद बरसा के मुझको मिले नही तुम फुरसत के चंद लम्हो में चाहत देखो ऐसी है बस मुझको तुम तड़पाते ख्वाब जो देखा तुमको लेकर और न पुरे हो सके सपने बड़ी खुसनशीब होती जिंदगी, जीवन मे जो तुम आते इस जिंदगी में मुक्कमल, न हो सकी जो अपनी चाहत मेरे ख़ुदा तुमने मुझको, क्यो ऐसे ख्वाब दिखाये रचना - लव तिवारी दिनांक- 30- अगस्त-2019 ...

मंगलवार, 27 अगस्त 2019

वंशवाद से हटकर है भारतीय जनता पार्टी- प्रोफेसर डॉ दीपक कुमार शर्मा

अरुण जेटली अब नहीं रहे। पर उनका बेटा कहाँ है?और स्वर्गीय सुषमा स्वराज की बेटी कहाँ है? स्वर्गीय मनोहर पर्रिकर, जिन्होंने अपने अंतिम दिनों में एक सार्वजनिक कर्तव्य के साथ नाक में ट्यूब डालकर काम करते रहे , उनके नथुने कहाँ हैं या उनका कोई बच्चा राजनैतिक गद्दी संभालने के दावे का साथ आगे आया? स्वर्गीय पूर्व पीएम वाजपेयी, क्या उन्होंने अपनी विरासत को हासिल करने के लिए किसी उत्तराधिकारी को छोड़ा था? क्या आप नोटिस करते हैं? हम उनके बेटों और बेटी का...

शुक्रवार, 2 अगस्त 2019

तुम से ही जीवन अपनी कैसे इसे बर्बाद करेगे - लव तिवारी

अब नही याद करेंगे न कोई फ़रियाद करेगे तुम से ही जीवन अपना कैसे इसे बर्बाद करेगे तुमको शायद मालूम न हो बिछड़ते हो जब ख्वाबों में तुमदिल सहम जाता हो जैसे,  सोचते किसको प्यार करेगें मुझको पता तुम मेरी न हो, हो अमानत गैरो कीजान कर इन सच्ची बातो को, फिर कैसे इनकार करेगे रखे सलामत ख़ुदा तुम को, और सारी खुशियां मिले मरते दम तक यही तमन्ना और दुआ हर बार करेगें रचना- लव तिवारीदिनांक -02- अगस्त-2019 ...