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अप्रैल 2017 ~ Lav Tiwari ( लव तिवारी )

Lav Tiwari On Mahuaa Chanel

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गुरुवार, 27 अप्रैल 2017

एक प्यारा सा गांव, जिसमे पीपल छांव छाव में आशिया था एक छोटा मका था - सुदर्शन फ़ाकिर

एक प्यारा सा गांव, जिसमे पीपल छांव छाव में आशिया था, एक छोटा मका था छोड़ कर गांव को, उसी घनी छाव को शहर के हो गए है, भीड़ में खो गये है वो नदी का किनारा, जिस पर बचपन गुजारावो लड़कपन दीवाना, रोज पनघट पर जानाक्या वो थी जवानी , बन गए हम कहानीछोड़ कर गांव.......एक प्यारा सा गांव....... इतने गहरे थे रिश्ते, लोग थे फरिश्तेएक टुकड़ा जमीन थी, अपनी जन्नत वही थीहाय ये बदनसीबी ,नाम जिसका गरीबी छोड़ कर गांव को....एक प्यारा सा गांव..... ये तो प्रदेश...

शनिवार, 22 अप्रैल 2017

दोस्त एक भी तो नही दिख रहा यहाँ- डॉ एम डी सिंह

हुआ   कैसा   यह   अखबार   शाया   है पन्ना - पन्ना गम हर्फ - हर्फ  दर्द छाया है चीख  के  दम  तोड़ती  इंसानियत  यहां कैसे  दौर  में  भला  यह  वक्त  आया है दोस्त  एक भी तो नहीं  दिख  रहा  यहां खींच  ऐसे  मुकाम  पर  जश्न  लाया  है रोके नहीं हैं रुकते यहां अश्क किसी के किसी ...

जहाँ इंसानियत दिखती नही - डॉ एम डी सिंह

जहां  इंसानियत  दिखती  नहीं  यार  कहीं पर कहते हो तुम था जमी पे कभी जन्नत यहीं पर गुलों  की जहां  बस्तियां  दिखतीं थी  हर जगह टुकड़े  पत्थरों  के  बिखरे हैं हर सिम्त वहीं पर जाने को जहां थी भरी दिल में हर किसी के हाँ आज क्यूँ  टिकी  है  बात  एकदम  से नहीं पर जहां  फूलों  की घाटियां  शिकारों  पे  शहर था सुना   वही  ...

शुक्रवार, 14 अप्रैल 2017

एक बात कहे जो तुम समझो- लव तिवारी

एक बात कहे जो तुम समझो मुझे तुमझे मोहब्बत है शायद लेकिन दुनिया के लोगो मे एक बड़ी बग़ावत है शायद तुम हो जाते  मेरे अपने बस यही एक चाहत है शायद ये ख्वाब न टूटे उम्र भर कही एक बस यही हसरत है शायद मुझे अपनी दुनिया की फिक्र नही एक तुम्ही सलामत रहो शायद ...

रविवार, 2 अप्रैल 2017

कौन सुनेगा किसको सुनाये - लव तिवारी

दिल्ली, गुरुग्राम, नॉएडा, मुंबई, पुणे, बंगलुरु  मिनी इंडिया को रिप्रेजेंट करते हैं... एक ही पल में जहां एक तरफ बहुमंजिला इमारतों की बालकनियों में  चाय की चुस्कियां चल रही होती हैं... तो दूसरी ओर उसी बिल्डिंग के बराबर वाले स्लम में  रोते बिलखते बच्चों की आवाज के बीच एक बैचैन माँ  चूल्हे पे कुछ पकाने की जद्दोजहद में होती है.. कोई एक कान पे फ़ोन लगाए और दूसरे कंधे पे लैपटॉप बैग टाँगे  घर जाने के लिए ऑटो पकड़ने...