शुक्रवार, 6 दिसंबर 2019

ओवरलोड वाहनों के कारण बार बार क्षतिग्रस्त वीर अब्दुल हमीद सेतु ग़ाज़ीपुर - लव तिवारी

वीर अब्दुल हमीद सेतु गाज़ीपुर का यह पक्का पुल जो पूर्व प्रधानमंत्री श्री मति इंदिरा गांधी जी के द्वारा ग़ाज़ीपुर की जनता को सौगात के रूप में दिया गया था। 10 सितम्बर 1965 में परमवीर चक्र विजेता स्वर्गीय श्री वीर अब्दुल हमीद जी के पूर्ण तिथि इस पुल का नाम वीर अब्दुल हमीद सेतु रखा गया जिसकी लंबाई लगभग 810 मीटर है । इस पक्की पुल की विशेषता (नेशनल हाईवे 97) को मुख्यरूप ग़ाज़ीपुर और बिहार के सीमा को NH 97 के माध्यम से जोड़ना । ग़ाज़ीपुर सैयदराजा मार्ग इसी हमीद सेतू की मदद से जुड़ा हुआ है । वर्तमान में आलाधिकारियों के आदेश ताक पर सुहवल एवं रजागंज पुलिस की मिली भगत से धडल्ले से जारी है ओवरलोड वाहनों का संचालन सेतु पर एक बार फिर खतरा मडरा रहा है, इस खतरा से कभी भी कोई बड़ी दुर्धटना हो सकती है और पूल क्षतिग्रस्त हो सकता है। ऐसा यह पहली बार नही है इस ओवर लोड के चक्कर मे पुल कई बार क्षतिग्रस्त चुका है। इसका दुष्परिणाम सबसे ज्यादा समीपवर्ती गांवों को जैसे- युवराजपुर पटकनिया, बवाडे मेदनीपुर रेवतीपुर सुहवल के लोंगो होता है। किसान की खेती भी इस दुष्परिणाम से कई बार प्रभावित हो चुकी है । आलू के खेती के समय पुल के क्षतिग्रस्त होने से किसानों को सही समय पर आलू को कोल्डस्टोरेज में न रखने से बहुत बड़ा नुकसान का सामना करना पड़ा था।

इस सब समस्यायों का सबसे बड़ा पुलिस थाना सुहवल और राजगंज चौकी ग़ाज़ीपुर के  कारण है। इनकी लूट खसोट के चक्कर से स्थानीय नागरिकों को बहुत नुकसान के साथ दुर्घटना का भी शिकार होना पड़ता है। इस विषय पर सरकार एवम जिले के आला अधिकारियों को इस समस्या का पूर्ण निदान अवश्य ढूढना चाहिए। और पुलिस के इस लापरवाही के प्रति उचित कार्यवाही करनी चाहिए।।

लेखक- लव तिवारी
+91-9458668566
ग़ाज़ीपुर उत्तर प्रदेश

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